उत्पत्ति
केंद्रीय शैक्षिक प्रौद्योगिकी संस्थान, राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद (एनसीईआरटी) की एक संघटक इकाई है जो कि मानव संसाधन विकास मंत्रालय, भारत सरकार के अंतर्गत एक स्वायत्त संगठन है। शैक्षिक प्रौद्योगिकी केन्द्र और शिक्षण सहायिकी विभाग के विलय से 1984 में स्थापित इस संस्थान का मुख्य उद्देश्य विद्यालय स्तर पर शैक्षिक प्रौद्योगिकी विशेषत: जनसंचार माध्यम को एकल रूप अथवा संयोजन (मल्टी मीडिया पैकेज) में शैक्षिक अवसरों के विस्तार और शैक्षिक प्रक्रियाओं की गुणवत्ता में सुधार करना है।
शैक्षिक प्रौद्योगिकी के एक प्रमुख एवं शीर्षस्थ संस्थान के रूप में सीआईईटी के मुख्य प्रकार्य हैं:
- प्रारंभिक शिक्षा के सार्वभौमिकरण के राष्ट्रीय लक्ष्य को प्राप्त करने हेतु वैकल्पिक अधिगम प्रणालियों का डिज़ाइन, निर्माण, परिक्षण और प्रसार करना।
2. लघु् , मध्य और दीर्घ स्तरों पर विभिन्न शैक्षिक समस्याओं का समाधान करना।
सी आई ई टी के कार्यकलापों के क्षेत्र निम्नवत् है:
- विद्यालय स्तर पर पाठ्यचर्यात्मक एवं पाठ्येत्तर क्रियाकलापों के संचालन को मजबूत बनाने के लिए मीडिया सॉफ्टवेयर सामग्री अर्थात दूरदर्शन/आकाशवाणी (प्रसारण के साथ-साथ गैर-प्रसारण दोनों के प्रयोग हेतु), ग्राफिक्स तथा अन्य कार्यक्रमों का डिजाइन एवं निर्माण करना।
- आलेख निर्माण, मीडिया संचार, मीडिया निर्माण मीडिया शोध, तकनीकी प्रचालन, स्टूडियो स्थापना, उपकरण की मरम्मत एवं रखरखाव जैसे क्षेत्रों में प्रशिक्षण के माध्यमसे उपर्युक्त शैक्षिक सॉफटवेयर सामग्री के निर्माण एवं उपयोग में क्षमताओं का सृजन करना।
- शिक्षा में सूचना एवं संचार प्रौद्योगिकी (आई सी टी) के उपयोग की योजनाओं को तैयार करना।
- शैक्षिक प्रौद्योगिकी के उपयोग में शिक्षा के उच्च उध्ययन संस्थानों/अध्यापक शिक्षा महाविद्यालयों और जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थानों के संकाय को उनके अध्यापक शिक्षा कार्यक्रमों में प्रशिक्षित करना।
- सामग्री में सुधार करने और उनकी प्रभावकारिता की वृद्धि को ध्यान में रखते हुए प्रणालियों, कार्यक्रमों और सामग्री का अनुसंधान करना, मूल्यांकन करना तथा अनुवीक्षण करना।
- बेहतर उपयोग के लिए सूचना, सामग्री और कार्यक्रमों का प्रलेखन एवं प्रसार करना तथा शैक्षिक प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में एक वितरण केन्द्र/एजेंसी के रूप में कार्य करना।
- मानव संसाधन विकास मंत्रालय द्वारा भारत के पाँच राज्यों में स्थापित राज्य शैक्षिक प्रौद्योगिकी संस्थानों (एस आई ई टी) के अकादमिक एवं तकनीकी कार्यक्रमों तथा कार्यकलापों को सलाह देना और समन्वय करना।
सी आई ई टी के प्रमुख कार्य
- वैकल्पिक अधिगम प्रणलियों को डिजाइन करना, निर्वाण और प्रसार करना
- शैक्षिक प्रौद्योगिकी को बढ़ावा देना
- शैक्षिक प्रौद्योगिकी में कार्मिकों को प्रशिक्षण देना
- राज्य शैक्षिक प्रौद्योगिकी संस्थानों की गतिविधियों को सलाह एवं समन्वय प्रदान करना
- एनसीईआरटी के अन्य संघटकों को परामर्श एवं मीडिया सहयोग प्रदान करना
विज़न
हमारे संस्थान का विज़न शैक्षिक संचार एवे प्रौद्योगिकी में पेशेवर सुधार एवं प्रगति के विभिन्न पहलुओं में राष्ट्रीय पथप्रदर्शक एवं अग्रणी बनना, सिद्धांत, अनुसंधान, व्यवहार और मूल्यों की संहिता का आधार बनना, नवाचारों के उपयोग द्वारा, डिजाइन के साथ संयोजन में अनुसंधान, गुणकारी शैक्षिक मीडिया सॉफ्टवेयर के संसाधन केन्द्र के निर्माण एवं प्रबंधन से और प्रौद्योगिकी एवं शिक्षाशास्त्र के एकीकरण के आयोग द्वारा समाधान प्रदान करना है।
मिशन
केन्द्रीय शैक्षिक प्रौद्योगिकी संस्थान (सी आई ई टी) का मिशन है:
- संदर्भ एवं अनुसंधान के लिए राष्ट्रीय, क्षेत्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्रोतों के माध्यम से अर्जित विद्यालय शिक्षा मीडिया सॉफ्टवेयर के लिए एक नोडल संसाधन केन्द्र के रूप में कार्य करना।
- अभिभावकों सहित बच्चों और शिक्षकों के लिए शैक्षिक सॉफ्टवेयर के डिजाइन, अनुसंधान और निर्माण में उत्कृष्टता प्राप्त करना।
- उपयुक्त प्रौद्योगिकी की अभिसारिता के माध्यम से अध्यापक शिक्षा में योगदान देना।
- विद्यालय शिक्षा में गुणकारी सुधार की भूमिकाओं के लिए शिक्षकों/प्रशिक्षकों की अभिक्षमताओं का निर्माण करना।
- शैक्षिक नीति निर्माताओं को प्रलक्षित रूप से सूचित करना और भारत में शैक्षिक प्रौद्योगिकी (आई सी टी संबंधित) नीति का समालोचनात्मक मूल्यांकन करना।